Koi Sehri Babu (Hindi)
कोई शहरी बाबू
दिल लहरी बाबू
हाय रे
हाय रे !
पग बांध गया घुंघरू
मैं छम छम नचदी फिरा
मैं छम छम नचदी फिरा !
मैं तो चलूं होले होले
फिर भी मन डोले
हाय वे मेरे रब्बा मैं की करा
मैं छम छम नचदी फिरा
मैं छम छम नचदी फिरा
पनघट पे मैं कम जाने लगी
नटखट से मैं शर्माने लगी
हाए धड़कन से मैं घबराने लगी
दर्पण से मैं कतराने लगी
मन खाए हिचकोले
ऐसे जैसे नैना डोले
हाय वे मेरे रब्बा मैं की करा
मैं छम छम नचदी फिरा
कोई शहरी बाबू
दिल लहरी बाबू
हाय रे
हाय रे !
पग बांध गया घुंघरू
मैं छम छम नचदी फिरा
मैं छम छम नचदी फिरा
सपनों में चोरी से आने लागा
रातों की निंदिया चुराने लागा
हां नैनों की डोली बिठा के मुझे
लेके बहुत दूर जाने लगा
मेरे घुंघटा को खोले
मीठी मीठी बोल बोले
हाय वे मेरे रब्बा मैं की करा
मैं छम छम नचदी फिरा
कोई शहरी बाबू
दिल लहरी बाबू
हाय रे
हाय रे !
पग बांध गया घुंघरू
मैं छम छम नचदी फिरा
मैं छम छम नचदी फिरा
मैं छम छम नचदी फिरा
मैं छम छम नचदी फिरा